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जाने माला के प्रकार, माला जपने का सही तरीका, नियम और फायदे-By Your Astrology Guru

मेष लग्न में रत्न

रत्न कभी भी राशि के अनुसार नहीं पहनना चाहिए, रत्न कभी भी लग्न, दशा, महादशा के अनुसार ही पहनना चाहिए। जन्म कुंडली के लग्न चार्ट के प्रथम स्थान में अगर 1 नंबर लिखा हो, तो जातक का मेष लग्न होता है। मेष लग्न में रत्न लग्न के अनुसार मेष लग्न मैं जातक मूंगा, मोती, माणिक, […]

जाने माला के प्रकार, माला जपने का सही तरीका, नियम और फायदे-By Your Astrology Guru

मीन लग्न में धन योग

मीन लग्न में जन्म लेने वाले व्यक्तियों के लिए धनप्रदाता ग्रह मंगल है। धनेश मंगल की शुभाशुभ स्थिति, धन स्थान से संबंधित स्थापित करने वाले ग्रहों की स्थिति एवं धन स्थान पर पड़ने वाले ग्रहों के दृष्टि संबंध से जातक की आर्थिक स्थिति, आय के स्रोत तथा चल-अचल संपत्ति का पता चलता है। इसके अतिरिक्त […]

जाने माला के प्रकार, माला जपने का सही तरीका, नियम और फायदे-By Your Astrology Guru

कुंभ लग्न में धन योग

कुंभ लग्न में जन्म लेने वाले व्यक्तियों के लिए धनप्रदाता ग्रह बृहस्पति है। धनेश बृहस्पति की शुभाशुभ स्थिति, धन स्थान से संबंध जोड़ने वाले ग्रहों की स्थिति एवं धन स्थान पर पड़ने वाले ग्रहों के दृष्टि संबंध से जातक की आर्थिक स्थिति, आय के स्रोत तथा चल-अचल संपत्ति का पता चलता है। इसके अतिरिक्त पंचमेश […]

रविवार की आरती – Ravivar ki Aarti Lyrics in Hindi

रविवार की आरती – Ravivar ki Aarti Surya Dev ki Aarti – रविवार का दिन भगवान सूर्य देव को समर्पित है। मान्यता है कि सूर्य देव की पूजा और अराधना करने से जीवन में शांति मिलती है। यूं तो हर दिन सूर्य देव को नमस्कार करना शुभ होता है लेकिन रविवार के दिन सूर्य नमस्कार

साईं चालीसा – Sai Chalisa in Hindi Lyrics

साईं चालीसा – Sai Chalisa in Hindi Sai Chalisa in Hindi – धर्म कर्म शिरड़ी के बाबा साई नाथ सदैव सभी भक्तों की मनोकामनाएं पूरी करते रहते हैं । अगर मन में जरा सी भी शंका रहती है कि साई नाथ कृपा करेंगे या नहीं तो ऐसे में आपकी मनोकामनाएं शीघ्र नहीं हो पायेगी, इसलिए गुरुवार

सूर्य भगवान की आरती – Surya Bhagwan ki Aarti Lyrics in Hindi

सूर्य भगवान की आरती – Surya Bhagwan ki Aarti Surya Dev Aarti – रविवार के दिन इस आरती (Surya Bhagwan ki Aarti) को करने से होते हैं सूर्य देव प्रसन्न तो चलिए जाने, श्री सूर्यदेव की आरती ….. सूर्य देव की आरती – Surya Dev ki Aarti जय कश्यप नन्दन, स्वामी जय कश्यप नन्दन। त्रिभुवन तिमिर

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