Loading...

299 Big Street, Govindpur, India

Open daily 10:00 AM to 10:00 PM

बृहस्पति के अशुभ होने पर वैवाहिक जीवन और भाग्य पर पड़ता है प्रतिकूल प्रभाव, जानिए उपाय

Uncategorized

लेख सारिणी

बृहस्पति / गुरु गृह शांति के उपाय

बृहस्पति/गुरू एक राशि में 13 मास तक निवास करते हैं और सूर्य, चन्द्र और मंगल इनके मित्र है, जबकि बुध, शुक्र इनके शत्रु है तथा शनि, राहु, केतु इनके समग्रह हैं। इसके साथ ही बृहस्पति विशाखा, पुनर्वसु तथा पूर्वभाद्रपद नक्षत्रों के स्वामी भी हैं। ग्रहों में गुरु ग्रह को सबसे बड़ा और प्रभावशाली माना जाता है. अगर कुंडली में गुरु ग्रह (बृहस्पति) उच्च भाव में और मजबूत होता तो इंसान बहुत प्रगति करता है. बृहस्पति व्यक्ति को मजिस्ट्रेट, प्रिंसिपल, गुरु, पंडित, ज्योतिषी, एमएलए, मंदिर के पुजारी, यूनिवर्सिटी का अधिकारी, एमपी, प्रसिद्द राजनेता आदि बनाते हैं। यदि आपकी कुंडली में बृहस्पति शुभ हैं तो इसका लक्षण है कि आप कभी झूठ नहीं बोलते अपनी उनकी सच्चाई के लिए आप प्रसिद्ध हैं।

जब गुरु बृहस्पति आपकी कुंडली में खराब हैं तो चोटी के स्थान से बाल उड़ जाएंगे। खराब बृहस्पति वाले लोगों के विरुद्ध ही अफवाहें भी उड़ाई जाती हैं। महिलाओं तो के विवाह की पूरी जिम्मेदारी बृहस्पति/गुरू से ही देखी जाती है और बृहस्पति के कारण ही मोटापा घटता और बढ़ता है। परन्तु गुरु निम्न कारण से भी अशुभ फल देता हैं : –

  • अपने पिता, दादा, नाना को कष्ट देने अथवा इनके समान सम्मानित व्यक्ति को कष्ट देने
  • साधु संतों को कष्ट देने से गुरु अशुभ फल देता है।

गुरु ग्रह को मजबूत बनाने के लिए या फिर इस ग्रह के दोष कम करने के लिए कुछ आसान उपाय यहां बताए जा रहे हैं:

बृहस्‍पति मजबूत करने के उपाय ( Brihaspati Mantra Upay)

१. वृहस्पति को बलवान करने एवं धनप्राप्ति हेतु पुखराज युक्त गुरुयंत्र सोने में लॉकेट को भांति अपने गले में धारण करें।

२. प्रतिदिन गुरुलीलामृत का पाठ अथवा श्रवण करें।

३. हरी पूजन करे या पीपल का पालन करें।

४. शुद्ध सोना धारण करें। ( वृहस्पति पृष्ठ भावस्थ को छोड़कर )

५. पीला पुखराज पहनें। पुखराज के अभाव में हल्दी की गाँठ, पीले रंग के धागे में बाँध कर दाई भुजा पर बाँध।

६. गुरु के कारण उत्पन्न समस्त अरिष्टों के शमन के लिए रुद्राष्टाध्यायी एवं शिवसहस्त्रनाम का पाठ अथवा नित्य रुद्राभिषेक करना प्रभावी उपाय है।

७. पंचम भाव स्थिति शनि, गुरु के अरिष्ट शमनाथ ४० दिन तक वट वृक्ष की १०८ प्रदक्षिणा करना हितकारी होता है।

८. चांदी की कटोरी में केसर/हल्दी का तिलक करें।

९. वृहस्पति का व्रत ५, ११ या ४३ हफ़्तों तक लगातार रखें।

१०. प्रतिदिन स्नान के पश्चात नाभि पर केसर का तिलक लगाय।

११. वैदिक या तांत्रिक गुरु मंत्र का जप तथा कवच एवं स्तोत्र पाठ अथवा भगवान दत्तात्रेय के तांत्रिक मन्त्र का अनुष्ठान करना लाभप्रद है।

१२. राहु, मंगल आदि क्रूर एवं पाप ग्रहों से दूषित गुरुकृत संतान बाधा योग में शतचंडी अथवा हरिवंश पुराण एवं संतान गोपाल मन्त्र का अनुष्ठान करें।

१३. पीले कनेर के पुष्प गुरु प्रतिमा पर चढ़ाएं।

१४. दत्तात्रेय भगवान का विधिवत पूजन करें।

१५. किसी सौभाग्यवती स्त्री को पीले वस्त्रों का दान दें।

१६. मिथुन या कन्या लगन में वृहस्पति ६,८ या १२ वें स्थान में हो तो वृहस्पति के अशुभ प्रभाव से बचने के लिए शुद्ध सोने के दो टुकड़े या पुखराज रतन बराबर वजन के लें। विवाह समय एक टुकड़ा संकल्पपूर्ण नदी में बहा दें तथा दूसरा अपने पास रखें। जब तक दूसरा टुकड़ा जातक के पास रहेगा उसको वृहस्पति का कुप्रभाव स्पर्श नहीं कर पायेगा तथा उसका वैवाहिक जीवन सुखमय रहेगा।

१७. गुरु महाविष्णु का प्रतिनिधित्व करता है अतः पुरुष सूक्त का जाप और हवन अथवा सुदर्शन होम भी कल्याणकारी है।

१८. ब्राह्मण एवं देवता के सम्मान, सदाचरण करने, फलदार वृक्ष लगवाने एवं फलों के दान (केला, नारंगी आदि पीले फल) से वृहस्पति देव प्रसन्न होते हैं।

१९. गरुण पुराण का नियमित रूप से पाठ करें।

२०. गेंदा या सूरजमुखी आदि पीले के फूल लगावें।

२१. वृहस्पति उच्च का हो तो वृहस्पति की चीजों का दान न देना तथा वृहस्पति नीच का हो तो वृहस्पति की चीजों का दान न लेना।

२२. ब्राह्मण, कुल, पुरोहित या साधू की सेवा करें।

२३. स्वर्ण जल से स्नान करें तथा स्वर्ण जल का पान करें। (स्वर्ण जल से तात्पर्य ऐसी जल से है जिसमें स्वर्ण डुबोया गया हो। )

२४. चमेली के नौ पुष्प लेकर बहते जल में प्रवाहित करें।

२५. लगातार तरह अथवा इक्कीस गुरुवार के व्रत करें।

२६. मासिक सत्यनारायण व्रत कथा एवं गुरुवार तथा एकादशी का व्रत करें।

इसके अलावा गुरु की महादशा हो या अन्तर्दशा वह जिस भाव में बैठकर अशुभ फल दे रहा हो उस भाव के निम्मित उपाय होना आवश्यक है –

प्रथम भाव में गुरु के उपाय / टोटके 

  • बुध, शुक्र और शनि से संबंधित वस्तुए धार्मिक जगह पर दान करें.
  • गायों की सेवा करें और अछूतों की मदद करें।

दूसरे भाव में गुरु के उपाय / टोटके

  • दान देने से समृद्दि बढ़ेगी
  • यदि आपके घर के सामने की सड़क में कोई गड्ढा है तो उससे भर दे।

तीसरे भाव में गुरु के उपाय / टोटके 

  • देवी दुर्गा माँ की पूजा करें और छोटी कन्याओ को मिठाई और फल देते हुए उनके पैर छू कर उनका आशीर्वाद लें
  • चापलूसों से दूर रहें

चतुर्थ भाव में गुरु के उपाय / टोटके 

  • घर में मंदिर ना बनाये
  • बड़ो की सेवा करें.
  • सांप को दूध पिलाये
  • कभी भी नंगे बदन ना रहे।

पंचम भाव में गुरु के उपाय / टोटके 

  • किसी भी तरह का दान या उपहार स्वीकार न करें
  • पुजारियों और साधुओ की सेवा करें।

छठवे भाव में गुरु के उपाय / टोटके 

  • गुरु के सम्बंधित वस्तुए मंदिर में भेंट करें
  • मुर्गा को दाना डाले
  • पुजारी को कपडे भेंट करें।

सप्तम भाव में गुरु के उपाय / टोटके 

  • भगवान शिव की पूजा करें
  • घर में किसी भी देवता की मूर्ति न रखें
  • हमेशा अपने साथ किसी पीले कपडे में बांध कर सोना रखें
  • पीले कपडे पहने हुए साधु और फकीरो से दूर रहें।

अष्टम भाव में गुरु के उपाय / टोटके 

  • राहु से सम्बधित चीजे जैसे गेंहू, जौ, नारियल आदि पानी में बहाये
  • श्मशान में पीपल का पेड़ लगाये.
  • मंदिर में घी आलू और कपूर दान करें।

नवम भाव में गुरु के उपाय / टोटके

  • हर रोज मंदिर जाना चाहिए
  • शराब पीने से बचें
  • बहते पानी में चावल बहाये।

दशम भाव में गुरु के उपाय / टोटके

  • कोई भी काम शुरू करने से पहले अपनी नाक साफ़ करें
  • नदी के बहते पानी में ४३ दिन तक ताम्बे के सिक्के बहाये
  • धार्मिक स्थानो में बादाम बांटें
  • घर के भीतर मंदिर बनाकर मूर्तिया स्थापित न करें.
  • माथे पर केसर का तिलक लगाये।

एकादश भाव में गुरु के उपाय / टोटके

  • हमेशा अपने शरीर पर सोना पहने
  • ताम्बे का कड़ा पहने.
  • पीपल के पेड़ में जल चढ़ाये।

द्वादश भाव में गुरु के उपाय / टोटके 

  • किसी भी मामले में झूठी गवाही से बचें
  • साधुओ गुरुओ और पीपल के पेड़ की सेवा करें
  • रात में अपने बिस्तर के सिरहाने पानी और सोंफ रखें।

Written by

Your Astrology Guru

Discover the cosmic insights and celestial guidance at YourAstrologyGuru.com, where the stars align to illuminate your path. Dive into personalized horoscopes, expert astrological readings, and a community passionate about unlocking the mysteries of the zodiac. Connect with Your Astrology Guru and navigate life's journey with the wisdom of the stars.

Leave a Comment

Item added to cart.
0 items - 0.00